जब कोई आपसे प्रश्न करे और कहे कि आप यह बताइये कि मैं क्या पूछना चाहता हूं ? ऐसे समय आप उससे एक कागज पर नौ अकों की संख्याएँ लिखवाएँ । शास्त्रों में यह कहा गया है कि जिनका ज्योतिष पर विश्वास नहीं है और जो इसका या ज्योतिषी का मखौल उड़ाने या परीक्षा लेने के लिए ही आये हैं या जहाँ भीड़-भाड़ और शोर शराबा हो रहा है वहाँ भविष्य कथन नहीं करना चाहिए ।
- फिर भी मूक प्रश्न बताने का कभी अवसर पड़ ही जाय तो प्रश्नकर्त्ता से कहिए कि वह बिना रुके एक साथ कागज पर 9 अंक की संख्या लिख दे अर्थात उसके मन में जो संख्या क्रम स्वतः ही निकलता आए सोच-सोच कर या रुककर नहीं।
- मान लो उसने 123456789 संख्या लिखी। इसका जोड़ 45 आया इसमें 3 जोड़ दें। आपका योग आएगा 48 जिसे नीचे दी गई 03 से 84 अंकों की सारिणी में देखें कि प्रश्न किस विषय से संबंधित है।
- ऊपर जो तीन जोड़े हैं यह तीन की संख्या हमेशा जोड़ी जाएगी।
- अगर कोई 9 बार 000000000 लिख दे तो 3 जोड़कर भी जोड़ 3 आएगा और सबसे बड़ी संख्या तब बनेगी जब 9 बार 9 ही लिखा जायेगा यथा 999999999 बराबर 81 तब तीन जोड़ने से संख्या 84 हो जाएगी।
- अगर किसी को लिखना न आता हो तो कहो कि 81 तक की कोई संख्या जो उसके मन में पहले आए तुरंत बता दे । उसमें 3 जोड़कर फल देखें ।
- नीचे 3 से लेकर 84 तक के अंको की संख्याओं के फल दिये जा रहे हैं।
- प्रत्येक संख्या के आगे एक से अधिक बातें लिखी मिलेंगी। ऐसी हालत में आप अपनी सहज बुद्धि से निर्णय लें कि उन दो तीन बातों में से कौन-सी बात प्रश्न कर्त्ता के लिये उपयुक्त हो सकती है, कौन सी नहीं ।
- यदि निर्णय न कर सकें तो सभी बातें बताकर कह दीजिए कि आपके प्रश्न का विषय इनमें से ही कोई है।
- आपके निकाले हुए अंक के सामने जो बातें लिखी हों उनमें से कोई बात जँचती नजर न आए। जैसे कोई वृद्ध पुरुष प्रश्न कर रहा है और आपका उत्तर विवाह या पुत्र संबंधी आता है तो यह हो सकता है कि वह यह बातें अपने पुत्र या पुत्री के लिये पूछने आया हो।
- इस कारण प्रश्नकर्त्ता की स्थिति, आयु देखकर निर्णय करना चाहिए ।
यदि फिर भी आपका उत्तर ठीक न हो और प्रश्नकर्त्ता को सन्तोष न हो तो उससे 81 तक की कोई संख्या एकदम से बोलने के लिये कहें, जो संख्या उसके मन में पहले आए वह बोल दे। जो लोग अक्सर सोचते रहते हैं और मन में उहापोह करते रहते हैं कि यह संख्या बोलें या वह संख्या बोलें। इसलिये आप उनको कह दीजिये कि जिस संख्या का स्फुरण आपके मन में सबसे पहले हो तुरन्त बोल दें।
बहुधा यह देखा गया है कि आपकी इच्छा शक्ति प्रबल है तो उस समय आप जो संख्या मन में उच्चारण करेंगे वही प्रश्नकर्ता के मुख से निकलेगी। इस कारण आप स्वयं कोई संख्या उस समय न सोचें। वैसे आप इसका प्रयोग करके देख सकते हैं।
यदि आपने प्राणायाम या राजयोग के द्वारा अपना मनोबल कुछ बढ़ा लिया है तो जो संख्या आप मन में उस समय बार बार दुहरायेंगे और मानसिक या आत्मिक दबाब डालेंगे कि प्रश्नकर्त्ता भी यह सोचे तो वह भी वही अंक बताएगा ।
सेफरियल एक प्रसिद्ध अंग्रेज अंक विद्या विशारद् थे जिन्होने अपनी पुस्तक ‘कबाला आफ नम्बर्स के दसवें अध्याय का शीर्षक रखा है अंक विद्या से हिन्दू शास्त्रानुसार मूक प्रश्न बताना । इसी अध्याय में लिखा है कि यह विद्या उन्होने एक भारतीय स्वामी जी से सीखी थी। उक्त पुस्तक में बहुत से संस्कृत शब्दों का प्रयोग है। इस पाठ में उसी के आधार पर मूक प्रश्न बताया गया है।
जिस हिन्दू शास्त्र के आधार पर सेफरियल ने यह प्रकरण लिखा है, वह वर्तमान में उपलब्ध नहीं है। हो सकता है कहीं हस्तलिखित पाण्डुलिपि हो ।
अब हम नीचे 3 से लेकर 84 तक की संख्याओं के उत्तर या फल दे रहे हैं।
3. आप अपने बारे में सोच रहे हैं। किसी बीमारी, ज्वर, रोग, क्रोध या झगड़े के बारे में सोच रहे हैं।
4. आप किसी घरेलू विषय पर सोच रहे हैं। परिवार के बारे में, प्रेम, आनन्द, मौज मस्ती करने या किसी ऐसे विषय के संबंध में जिसका हृदय से दिल से घनिष्ठ नाता है। और जिसकी तीव्र इच्छा आपके मन में है ।
5. विवाह के विषय में, किसी अनुबंध या साझेदारी के विषय में, शान्ति, एकता और मेल मिलाप के बारे में, मन की शान्ति या दूसरों में सुलह कराने के बारे में।
6. किसी समाचार या खबर के विषय में, भाई, यात्रा, संचार के साधन, डाक से आने जाने वाली वस्तु या तत्व संबंधी वस्तुओं के विषय में सोच रहे हैं।
7. मकान, जमीन, जमीन के नीचे की भूमिगत वस्तु के विषय में समुद्र अपार जल राशि, सागर के विषय में या परिवर्तन या स्थानान्तर के विषय में सोच रहे हैं।
8. प्राचीनता, पुरानी वस्तुएं, विदेश या विदेशी वस्तुओं के बारे में पूर्व दिशा या प्राचीन भारतीय सभ्यता के बारे में सोच रहे हैं ।
9. किसी की मृत्यु या व्यापारिक घाटा, हानि, नुकसान के बारे में या कोई गलत अनुबंध हो गया है और कैसे ठीक हो, यह सोच रहे हैं।
10. कोई दुर्भाग्यपूर्ण कष्टदायक, मित्रता, समझोता या
संबंध हो गया है या कोई ऐसा अनुबंध जिससे हानि की संभावना है या झगड़ा हो गया है इस विषय में ।
11. किसी खान, मकान, जमीन जायदाद, सम्पत्ति के मूल्य निर्धारण के बारे में।
12. खुशनुमा वातावरण, कोई जलसा, उत्सव, आराम, विलासिता की वस्तुएं उत्तम वस्त्र या इस प्रकार की किसी पार्टी में सम्मलित होने के विषय में ।
13. रुपये पैसे के बारे में, तत्काल धन लाभ के बारे में सट्टा लॉटरी के बारे में।
14. किसी स्त्री संबंधी के विषय में, जैसे पुत्र, बहिन, चाची, ताई, मामी, दादी, नानी आदि के बारे में किसी छोटी यात्रा के बारे में, नदीपार या समुद्रपार किसी दूर देश से आने वाले संवाद के विषय में ।
15. किसी की मृत्यु या अन्य दुःख का समाचार या किसी अन्य कष्टप्रद समाचार के बाबत या किसी घाटे या हानि या दुर्भाग्य के बारे में।
16. किसी अच्छे शुभ समाचार के विषय में, किसी लाभप्रद सम्पर्क, किसी अच्छे सुखदायक अनुबंध समझोते या बातचीत के विषय में या पत्नि के बाबत ।
17. किसी रोग, तकलीफ, नौकर बाबत या पास की किसी चीज के विषय में ।
18. किसी हर्षदायक यात्रा हेतु प्रेम, हर्ष, इच्छित संदेश प्राप्ति, सुवर्ण, भ्राता या कुटुम्ब से संबंधित किसी कार्य हेतु ।
19. किसी काम में रुकावट, एकान्तवास, अस्पताल या नर्सिंग होम में निवास, जेल सजा या किसी बच्चे के बारे में।
20. किसी यात्रा या पत्र के बारे में, किसी पत्र व्यवहार के संबंध में, किसी वस्तु के लाने ले जाने के विषय में या रास्ते से संबंधित प्रश्न है।
21. कुछ आर्थिक लाभ के विषय में, रूपया पैसा लाभ, अपने पास की कब्जे में होने वाली वस्तुओं के बारे में, चाँदी की चीज या सफेद वस्तु के बारे में।
22. किसी ऐसे विवाह संबंध के बारे में जो इच्छा के प्रतिकूल हो रहा हो या जिसके परिणाम ठीक न निकलने की आंशका हो, किसी बीमार, साझीदार, पति या पत्नि के बारे में, किसी शत्रु या प्रतिद्वन्द्वी के बाबत या कठिनाइयों अथवा प्रतिकूल अनुबंध हेतु ।
23. अच्छी सम्पन्न स्थिति में रहने हेतु, अच्छे कपड़े, उत्तम भोजन, स्वामिभक्त नौकरों हेतु, अच्छे पद, आराम, आशा, यश और उत्तम स्वास्थ्य के बारे में।
24. किसी डावांडोल स्थिति के बारे में, कुटुम्ब की कलह के बारे में, किसी ऐसे नये काम या आयोजन के बारे में जिसमें कठिनाइयाँ या बाधायें उपस्थित हो रही हों। बच्चों के विषय में या गुप्त प्रेम के संबंध में ।
25. अत्यधिक लाभ, प्रचूर सम्पत्ति, सुवर्ण, धन दौलत के बारे में, सूर्य या अन्य किसी चमकीली वस्तु के बाबत ।
26. किसी वस्तु पर शान्ति पूर्वक अधिकार प्राप्त करने के बारे में, अच्छी जायदाद मकान, बुनियाद, समतल भूमि, प्लाट आदि के बारे में ।
27. किसी बन्द कमरे या जगह के बारे में, नाव द्वारा छोटी जलयात्रा के बारे में, भाई या किसी अन्य निकट संबंधी के बारे में, किसी पत्र के विषय में या पत्र लाने वाले के बारे में।
28. अपनी कल्पना के बारे में, सफेद कपड़ा या प्यालानुमा वस्तु या चाँदी की वस्तु हेतु, नये चन्द्रमा के बारे में (शुक्ल पक्ष की प्रारंभिक तिथियों में चन्द्रमा नवीन होता है) ।
29. अस्वास्थ्य, खराब तन्दुरस्ती हेतु, गरीबी तथा कठिनाइयों की परिस्थितियों के बारे में, रक्त विकार, बीमारी या संघर्षमय जीवन के बारे में।
30. बच्चों की प्रसन्नता सम्बंधी, आनन्ददायक अनुभव, अच्छे दहेज या विरासत में धन प्राप्ति के बारे में, किसी मेलमिलाप या संघ के विषय में।
31. जमीन के नीचे भूगर्भ में स्थित वस्तु के विषय में, मकान में स्थित सर्प, बिच्छू या अन्य जानवरों के बारे में या विदेश के बारे में ।
32. किसी बादशाह, राजा या सरकार के बारे में स्वर्ण या अन्य अच्छी जगह धन लगाने के बारे में, अपने स्वयं के व्यक्तित्व, चरित्र व कार्य सम्बन्धी ।
33. किसी हर्षदायक समाचार के विषय में, अच्छे पद या स्थिति बाबत या किसी अन्य विशिष्ट उपलब्धि के बारे में या किसी भाई के विषय में ।
34. आर्थिक लाभ से संबंधित भोजन, अन्न या रोजमर्रा की जरूरत की चीजों से संबंधित या खरीद बाबत अथवा किसी शारीरिक भौतिक लाभ के बारे में।
35. किसी स्त्री के विषय में किसी बालक के जन्म बाबत सन्तान लड़का होगा या लड़की, किसी गुप्त योजना कार्यवाही या षड़यन्त्र के बारे में, जिसकी जानकारी प्रश्नकर्त्ता को नही हैं अपनी किसी गुप्त बात या एकान्तवास के बारे में।
36. सट्टे या रोजगार में हानि के बारे में, बीमार बच्चे के बारे में, दुःखदायक घरेलू कुटुम्ब की स्थिति हेतु, दुःख, कष्ट और कठिनाइयों के बारे में।
37. किसी ऐसे अनुबंध हेतु जिसका परिणाम अच्छा न हुआ हो या विवाह बाबत जिसका परिणाम अच्छा न हुआ हो, सुखी वैवाहिक जीवन न रहा हो, किसी मकान जायदाद या शादी के बारे में।
38. बुखार, मलेरिया, मोतीझरा से शारीरिक कष्ट या मृत्यु के बारे में, पास के किसी तालाब या जलाशय बाबत यात्रा या संवाद प्राप्ति हेतु या बहिन के बारे में।
39. किसी बन्द जगह या मन्दिर के बारे में, राज भवन, सिनेमा या किसी चमकीले, जगमगाते भवन के बाबत या बाहर जाने निष्कासन या प्रवास के बारे में।

नमस्कार । मेरा नाम अजय शर्मा है। मैं इस ब्लाग का लेखक और ज्योतिष विशेषज्ञ हूँ । अगर आप अपनी जन्मपत्री मुझे दिखाना चाहते हैं या कोई परामर्श चाहते है तो मुझे मेरे मोबाईल नम्बर (+91) 7234 92 3855 पर सम्पर्क कर सकते हैं। धन्यवाद ।
40. बहुमूल्य वस्तुओं, जवाहरात ज्वैलरी पहनने के वस्त्र, धन संबंधी या अन्न धान्य के मूल्यों के बारे में।
41. अपने स्वयं के बारे में, अपनी पोशाक, भोजन, स्थिति, नेकनामी, बदनामी, साख या प्रतिष्ठिा के बारे में ।
42. किसी मित्र या उच्च पद व स्थिति की महिला के विषय में, किसी उच्च पदाधिकारी की अनुकंपा हेतु, विशाल जनसमूह मेला या सभा के बारे में ।
43. पैतृक सम्पत्ति के बारे में, पुरानी इमारत, श्मशान खान, खनिज पदार्थों या किसी वृद्ध पुरुष के संबंध में।
44. भाई के विषय में, स्वास्थ्य, आराम की वस्तुओं, धार्मिक ग्रन्थों, शास्त्र संबंधी विषयों के बारे में, समुद्रपार या दूर से आने वाले पत्र के संबंध में ।
45. विवाह के संबंध में या लाभ हानि संबंधी, धोखाधड़ी, पक्षपात, असमानता, अन्याय या किसी कम मूल्य की वस्तु के बारे में।
46. किसी मित्र या उच्च पदाअधिकारी के बारे में सोने की वस्तु अंगूठी, जवाहरात या किसी बहूमूल्य वस्तु के बारे में।
47. स्वयं के बारे में, न्याय, मुकदमें के बारे में, नापतोल, संतोष, आराम, शान्ति या मृत्यु के बारे में।
48. पोशाक, गृह, श्रंगार गृह या भवन के किसी अन्दरूनी हिस्से के बारे में, किसी छिपे हुए या भागे हुए नौकर के बारे में, किसी महिला के स्वास्थ्य के बारे में या दूर से आने वाले संवाद के बारे में।
49. पद परिर्वतन या स्थान परिवर्तन के बारे में, अपनी माता या किसी विशिष्ट वस्तु के बारे में, किसी रानी या उच्च पदस्थ महिला के बारे में,
50. किसी कष्टदायक यात्रा के बारे में कष्ट में पड़ी हुई किसी बहिन के बारे में, कर्त्तव्य की पुकार, बुलावा या किसी दुःखद समाचार के बारे में।
51. प्रचुर आर्थिक लाभ के बारे में, किसी शर्त, सटटा लॉटरी या किसी रोजगार के बारे में, बच्चो के बारे में या दूर से आने वाले धन के बारे में।
52. शारीरिक रोग या मृत्यु संबंधी खोई हुई छिपी वस्तु बाबत नौकर लाल कपड़ा, गरम भोजन, डाक्टर, वैद्य, यमराज, तन्त्र विद्या, योग विद्या के बारे में, सर्प या अन्य रेंगने वाले जीव जन्तुओं के बारे में।
53. किसी उच्च पद, नौकरी के बारे में, राजा या उच्च पदाधिकारी, मृत सिंह या खोये हुए सोने के बारे में।
54. संक्रामक रोग के बारे में, कष्ट में पड़ी किसी महिला के बारे में, पत्नी, कन्या के बारे में, किसी वायदे, अनुबंध या चार दीवारों के विषय में ।
55. मृत्यु के विषय में खोये हुए कागज, दस्तावेज या गलत जगह पहुँचे हुए संदेश के बारे में, किसी नई उम्र की लड़की, जनसमूह या मित्र के बारे में।
56. समुद्रपार, विदेश संबंधी, समुद्रयात्रा के बारे में, धार्मिक सम्मेलन, प्रकाशन, जहाज, भूत या शक्ति (माता दुर्गा, काली आदि) के विषय में ।
57. किसी खजाने, भंडार या प्राप्त धन राशि के विषय में, किसी विरासत, पेंशन या किसी पुरुष संबंधी के बारे में।
58. वकील, जज, गुरू, पुरोहित, शास्त्र, वेद, ब्राह्मण, व्यक्तिगत जायदाद, व्यक्तिगत प्रभाव या व्यक्तिगत प्राप्ति के विषय में ।
59. मृत्यु ग्रह, अस्पताल, रोगी का कमरा बच्चा, घर में जलती हुई अग्नि, किसी साहसिक कार्य या उद्योग संबंधी प्रश्न ।
60. किसी पारसी अग्नि पूजक हवनकर्ता के विषय में, धार्मिक संस्कार, विदेशी राजा ऋषि, समाधि अवस्था, ब्रह्मा, आकाश स्थित सूर्य ईश्वर या काल, समय बाबत ।
61. भोजन या खाद्य पदार्थ, व्यापार, उत्तम वस्त्र, पुरुष मित्र व्यापार स्थान या बाजार, नौकर या वैष्णव बाह्मण सम्बन्धी प्रश्न ।
62. किसी लेख या अनुबंध के संबंध में, किसी वायदे, व्यक्ति की कानूनी कार्यवाही के बारे में, पद, जायदाद या पिता संबंधी प्रश्न ।
63. मृत स्त्री से संबंधित, खोई हुई जायदाद या वस्तु के बारे में, कफन का वस्त्र, क्षीण चन्द्रमा, स्त्री का दहेज या स्त्री धन अथवा स्नान संबंधी प्रश्न ।
64. अपने पद व स्थिति के बारे में प्राप्त जायदाद, विरासत, वृद्ध मनुष्य, सौदा या विनिमय वस्तुओ की अदला बदली, समय की अवधि संबंधी प्रश्न ।
65. छोटी यात्रा व उससे लौट आने का प्रश्न, जाना और आना, आवागमन, पैदल यात्रा, बन्द कमरा, सुखद कमरे में रहना, बहिन या मन्त्र या गुप्त मन्त्रणा बाबत ।
66. श्मशान, पर्वतीय स्थल या स्थान, खनिज पदार्थ, वैद्य, मित्र, जलता हुआ घर, सूखी भूमि या रेत संबंधी प्रश्न ।
67. मृत राजा, खोया हुआ सोना, स्त्री का दहेज, करधनी (मेखला), बीमार बच्चे के बारे में ।
68. छोटी कम उम्र की कन्या के बारे में, कुटुम्ब संबंधी, विश्वास योग्य पद या जमानत संबंधी प्रश्न ।
69. वस्त्र, नौका, जहाज, सौदागरी का सामान, भोजन की वस्तुएँ, व्यापार, वेदांग, विज्ञान की वस्तु के संबंध में ।
70. पत्नी के विषय मे, अनुबंध, जनता के एकत्र होने के स्थान बाबत पूर्ण चन्द्र पूर्णमासी संबंधी प्रश्न |
71. जलपात्र, कुम्भ, घड़ा विषयक प्रश्न, किसी पुराने परिचित स्थान या मित्र के बारे में, अन्य लोगों से अपने सम्पर्क के बारे में।
72. धन के बाबत, अमीर मित्र, ब्राह्मण, धार्मिक सम्मेलन, खड़ाऊ या ऐसी वस्तु हेतु जो जोड़े से पूर्ण होती है जैसे जूता, कैंची, चप्पल, पाजामा, आदि ।
73. भाई, पद, किसी शासक की मृत्यु, शीघ्र यात्रा, क्रोधयुक्त संदेश, सम्मान, प्रतिष्ठा, उत्तराधिकार अथवा लेखन संबंधी प्रश्न |
74. चमकते हुए सूर्य के विषय में, गर्विता पत्नि, शक्ति सम्पन्न शत्रु आखेट शिकार, आँखो की ज्योति या किसी चमकीले पदार्थ के बारे में।
75. खुशनुमा जगह, सम्पन्न जमीदारी, मोक्ष, गढ़ा धन, मवेशी पशुओ के बारे में।
76. पुत्र विद्या स्थान, पाठशाला, स्कूल, नव परिणीता वधु नई बहू या ब्रह्मचारी कुमार-कुमारी संबंधी प्रश्न ।
77. धोती, पगड़ी, साफा, नौकरानी, औषधि, जल या पीने पिलाने के बारे में।
78. किसी वृद्ध मित्र, संस्था, प्राचीन संबंधो के बारे में अस्पताल या जेल, कारागार या बन्धन में पड़े व्यक्ति के बारे में।
79. स्वयं की वृद्धि – समृद्धि प्रश्न, पदशक्ति, चरण, खड़ाऊ, उन्नति और सुख, किसी वस्तु की अन्तिम सीमा संबंधी, जज, वकील या बुद्धि – ज्ञान के बारे में ।
80. लाभ-हानि की आशंका, अग्नि से हानि, विदेश भूमि दूर देश में मृत्यु, समुद्र यात्रा संबंधी प्रश्न ।
81. किसी धनवान रिश्तेदार के विषय में उत्तम वस्त्र, सोने के आभूषण, व्यक्तिगत स्वास्थ्य, पके फलों के संबंध में।
82. शान्तिपूर्ण अन्तिम समय, बहुमूल्य दहेज, हर्ष दायक समाचार हाथी या कार की सवारी, लाभ के लिये कोई यात्रा या बहिन के संबंध में ।
83. व्यापार संबधी सन्धि या अनुबंध संबंधी, जायदाद का ठेका या किराए पर देने के बारे में, रास्ता या फाटक, नई बहू या सगाई के संबंध में ।
84. कन्या के विषय में, तालाब या स्नान स्थान, जन महोत्सव, दुर्गादेवी, अवकाश, साफ कपड़ा या प्रिय मित्र के बारे में।
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