धनु लग्न में राहु का फलादेश

धनु लग्न में राहु का फलादेश धनु लग्न वालों के लिए राहु शुभ नहीं है क्योंकि धनु राशि में यह नीच का होता है। यह लग्नेश गुरु का शत्रु भी है। धनु लग्न में राहु का फलादेश प्रथम स्थान में राहु यहां प्रथम स्थान में होने से धनु (नीच) राशि Read more

धनु लग्न में शनि का फलादेश

धनु लग्न में शनि का फलादेश धनु लग्न में शनि धनेश व पराक्रमेश है। यह पापी ग्रह है अतः अशुभ फल ही देगा। अशुभ ग्रह के साथ इसका अशुभत्व ज्यादा बढ़ जायेगा, क्योंकि यह लग्नेश गुरु से शत्रु भाव रखता है। धनु लग्न में शनि का फलादेश प्रथम स्थान में Read more

धनु लग्न में शुक्र का फलादेश

धनु लग्न में शुक्र का फलादेश धनु लग्न में शुक्र षष्टेश व लाभेश है। शुक्र यहां परम पापी व अशुभ फल को देने वाला ग्रह हैं। लग्नेश गुरु का शत्रु होने से धनु लग्न वालों के लिए शुक्र मुख्य मारकेश का काम करेगा। धनु लग्न में शुक्र का फलादेश प्रथम Read more

धनु लग्न में गुरु का फलादेश

धनु लग्न में गुरु का फलादेश धनु लग्न में गुरु लग्नेश व सुखेश है। लग्नेश होने से यह जीवन (आयु) प्रदाता व शुभ फलदायक ग्रह है, परन्तु केन्द्राधिपत्य दोष से दूषित होने के कारण अशुभ ग्रहों की युति से यह कहीं कहीं अशुभ फल भी देगा। धनु लग्न में गुरु Read more

धनु लग्न में बुध का फलादेश

धनु लग्न में बुध का फलादेश धनु लग्न में बुध सप्तमेश व राज्येश है। बुध यहां योगकारक है पर सप्तमेश होने से अशुभ फल देने वाला भी है। यह धनु लग्न वालों के लिए सहायक मारकेश का काम भी करेगा। द्विस्वभाव लग्न होने से बुध यहां मिश्रित फलदायक है। धनु Read more

धनु लग्न में मंगल का फलादेश

धनु लग्न में मंगल का फलादेश धनु लग्न में मंगल पंचमेश व खर्चेश है। मंगल खर्चेश होते हुए भी शुभ योग प्रदाता है क्योंकि यह गुरु का मित्र है। धनु लग्न में मंगल का फलादेश प्रथम स्थान में मंगल यहां प्रथम स्थान के धनु (मित्र) राशि में है। पंचमेश लग्न Read more

धनु लग्न में चंद्रमा का फलादेश

धनु लग्न में चंद्रमा का फलादेश धनु लग्न में अष्टमेश है। फलत: पापी है व अशुभ फल देने वाला है। धनु लग्न में चंद्रमा का फलादेश प्रथम स्थान में चंद्रमा यहां प्रथम स्थान में धनु (सम) राशि में होगा। ऐसे जातक का शरीर स्वस्थ व सुन्दर होगा। जातक का मन Read more

धनु लग्न में सूर्य का फलादेश

धनु लग्न में सूर्य का फलादेश धनु लग्न में सूर्य भाग्येश है। लग्नेश गुरु का मित्र होने से यह पूर्ण राजयोग कारक एवं शुभ फलदायक है। धनु लग्न में सूर्य का फलादेश प्रथम स्थान में सूर्य यहां प्रथम स्थान में धनु राशि का होगा। ऐसा जातक आत्मविश्वासी परिश्रमी, पराक्रमी, उद्यमी Read more

तुला लग्न में केतु का फलादेश

तुला लग्न में केतु का फलादेश पृथ्वी के दक्षिण भाग की छाया राहु तथा उत्तरी छाया को केतु कहा गया है। इसलिए ये दोनों आमने-सामने रहते हैं। तुला लग्न में लग्नेश शुक्र केतु का मित्र ग्रह है। तुला लग्न में केतु का फलादेश प्रथम भाव में तुला लग्न में केतु Read more

तुला लग्न में राहु का फलादेश

तुला लग्न में राहु का फलादेश लग्नेश शुक्र राहु का मित्र ग्रह है। तुला लग्न में राहु का फलादेश प्रथम स्थान ऐसा जातक विषयासक्त, असंयमी, व्यसनी, दुराचारी लम्पट और स्वेच्छाचारी होता है। इनका पारिवारिक जीवन, गृहस्थ जीवन असंतोष जनक होता है। जातक को शिक्षा नौकरी व व्यवसाय में रुकावटों का Read more