कुंभ लग्न में केतु का फलादेश

कुंभ लग्न में केतु का फलादेश लग्नेश शनि की राशि कुंभ में केतु हर्षित-प्रमुदित रहता है। अतः कुंभ लग्न में केतु जहां स्थित होगा वहां शुभफल देगा। कुंभ लग्न में केतु का फलादेश प्रथम स्थान में केतु यहां प्रथम स्थान में कुंभ राशि का होकर मित्रक्षेत्री होगा। ऐसा व्यक्ति बड़ा Read more…

कुंभ लग्न में राहु का फलादेश

कुंभ लग्न में राहु का फलादेश यह लग्नेश शनि से सम भाव रखते हुए भी कुंभ लग्न वालों के लिए शुभ फल ही देगा। कुंभ लग्न में राहु का फलादेश प्रथम स्थान में राहु यहां प्रथम स्थान अपनी मूल त्रिकोण राशि में होगा। जातक के मुंह का दिखाब बेडौल, दांत Read more…

कुंभ लग्न में शनि का फलादेश

कुंभ लग्न में शनि का फलादेश कुंभ लग्न में शनि लग्नेश एवं व्ययेश है। यहॉ शनि लग्नेश होने से अशुभ फल नहीं देता। कुंभ लग्न में शनि का फलादेश प्रथम स्थान में शनि यहां प्रथम स्थान में कुंभ राशि का होकर स्वगृही है। शनि की स्थिति के कारण ‘शश योग’ Read more…

कुंभ लग्न में शुक्र का फलादेश

कुंभ लग्न में शुक्र का फलादेश कुंभ लग्न में शुक्र चतुर्थेश एवं भाग्येश है। शुक्र शनि का मित्र होने से कुंभ लग्न वालों के लिए शुक्र परम राजयोग कारक ग्रह है। कुंभ लग्न में शुक्र शुक्र का फलादेश प्रथम स्थान में शुक्र यहां प्रथम स्थान में कुंभ (मित्र) राशि में Read more…

कुंभ लग्न में बृहस्पति का फलादेश

कुंभ लग्न में बृहस्पति का फलादेश कुंभलग्न में बृहस्पति द्वितीयेश व लाभेश है। दो अशुभ भावों का स्वामी होने से बृहस्पति यहां मुख्य मारकेश है। कुंभ लग्न में बृहस्पति का फलादेश प्रथम स्थान में बृहस्पति यहां प्रथम स्थान में कुंभ (सम) राशि में है। बृहस्पति के कारण ‘कुलदीपक योग’ व Read more…

कुंभ लग्न में बुध का फलादेश

कुंभ लग्न में बुध का फलादेश कुंभ लग्न में बुध पंचमेश एवं अष्टमेश है। बुध लग्नेश शनि का मित्र होने से योगकारक तथा शुभ फलदायक है। कुंभ लग्न में बुध का फलादेश प्रथम स्थान में बुध यहां प्रथम स्थान में कुंभ (मित्र) राशि में है। बुध के कारण ‘कुलदीपक योग’ Read more…

कुंभ लग्न में मंगल का फलादेश

कुंभ लग्न में मंगल का फलादेश कुंभ लग्न में मंगल तृतीयेश एवं राज्येश है। कुंभ लग्न में मंगल शुभ और अशुभ दोनों फल देता है। कुंभ लग्न में मंगल तृतीय मारकेश के रूप में काम करता है। कुंभ लग्न में मंगल का फलादेश प्रथम स्थान में मंगल यहां प्रथम स्थान Read more…

कुंभ लग्न में चंद्रमा का फलादेश

कुंभ लग्न में चंद्रमा का फलादेश कुंभ लग्न में चंद्रमा षष्टेश होने से परम पापी एवं अशुभ फल प्रदाता है। कुंभ लग्न में चंद्रमा का फलादेश प्रथम स्थान में चंद्रमा यहां प्रथम स्थान में कुंभ (सम) राशि में होगा। चंद्रमा यहां अपने स्थान (कर्क राशि) में ‘षडाष्टक योग’ करके बैठा Read more…

कुंभ लग्न में सूर्य का फलादेश

कुंभ लग्न में सूर्य का फलादेश कुंभ लग्न में सूर्य सप्तमेश होने से अशुभ फलदाता है। सूर्य लग्नेश शनि का शत्रु है, फलतः द्वितीय मारकेश का काम करेगा। कुंभ लग्न में सूर्य का फलादेश प्रथम स्थान में सूर्य यहां प्रथम स्थान में कुंभ (शत्रु) राशि में होगा। सूर्य पितृ कारक Read more…

धनु लग्न में केतु का फलादेश

धनु लग्न में केतु का फलादेश धनु लग्न वालों के लिए केतु लग्नेश गुरु का मित्र है। धनु लग्न में केतु का फलादेश प्रथम स्थान में केतु यहां प्रथम स्थान में धनु राशि का है। ऐसा जातक लड़ाकू, कृतघ्न, चुगलखोर व असज्जनों के साथ रहने वाला होता है। जातक का Read more…